महाकाल मंदिर: जलाभिषेक रसीद की जालसाजी, यहां दलाल 750 रुपये की रसीद को 1500 रुपये में बेच रहे थे।

Mahakal Temple: महाकाल मंदिर में जलाभिषेक के लिए गर्भगृह में प्रवेश की रसीद की कालाबाजारी का मामला सामने आया है। दलाल 750 रुपये की रसीद को 1500 रुपये में बेच रहे थे। बुधवार को उन्होंने सहारनपुर से आए श्रद्धालुओं से तीन रसीद के 4500 रुपये प्राप्त भी कर लिए थे। मंदिर प्रशासन ने मामले में पुलिस से शिकायत की है। गेट नंबर 4 पर दर्शनार्थियों को मंदिर में प्रवेश कराते समय मंदिर के सुरक्षा प्रभारी राजकुमार सिंह ने दलाल को पकड़ लिया।

ज्योतिर्लिंग महाकाल मंदिर में आनलाइन रसीद व्यवस्था की शुरुआत की गई थी ताकि दर्शनार्थी सशुल्क दर्शन कर सकें और ठगी के मामलों से बच सकें। लेकिन फिर भी, देशभर से आने वाले कुछ लोगों को रसीद नहीं मिल पाने के कारण दिक्कतें आ रही हैं। उन्हें दलालों द्वारा धोखा देकर ज्यादा राशि में रसीद बेची जा रही है। मंदिर प्रशासन ने इस मामले में सख्त एक्शन लेने की बात कही है और दलालों को पकड़ने के लिए बदहवासी भी जताई है।

दूसरे तरीके से: महाकाल मंदिर में सशुल्क दर्शन की व्यवस्था से जुड़े मुद्दों के कारण अब दलालों की संख्या बढ़ती जा रही है। वे लोगों के साथ सांठगांठ करके भक्तों को धोखा दे रहे हैं। बुधवार को उत्तर प्रदेश के सहारनपुर से आए निखिल, नुपुर और आकांक्षा नाम के दर्शनार्थियों को भी दलालों के चंगुल में फंसना पड़ा।

राजकुमार सिंह ने बताया कि कुछ दिनों से मुकेश जैन कोठारी की शिकायत प्राप्त हो रही थी। उस पर सतत नजर रखी जा रही थी। मंगलवार को वह बचकर निकल गया था, लेकिन बुधवार को पकड़ लिया गया। इसके साथ ही कुछ और लोगों के जुड़े होने की भी जानकारी मिली है।

जब सुरक्षाकर्मी आरोपितों को पूछताछ के लिए कंट्रोल रूम ले जाने जा रहे थे, उस समय मुकेश जैन कोठारी ने सुरक्षा घेरे को तोड़कर भागने का प्रयास किया। सूत्र बताते हैं कि प्रोटोकाल कार्यालय के एक कर्मचारी ने उसे छोड़ने के लिए दबाव बनाया था। मंदिर प्रशासन इस घटना की गंभीरता से पड़ताल करेगा तो दलाल के बड़े रैकेट का खुलासा हो सकता है। इस पर नजर रखी जा रही है।